आर्ट ऑफ लिविंग के स्वयं सेवकों ने आईएएचवी के साथ मिलकर लाखों प्रवासी मजदूरों, परिवारों और जरूरतमंदों को 500 टन आवश्यक राहत सामग्री पहुंचाई।
संस्थान ने हैदराबाद में भी एक अस्पताल की व्यवस्था की है। इसमें तनाव और चिंता को दूर करने संबंधी परामर्श के लिए एक ऑनलाइन हेल्पलाइन भी जारी की गई है।
लगातार प्रयासों के चलते, आर्ट ऑफ लिविंग के स्वयं सेवकों ने अपने सहयोगी संस्थान इंटरनेशनल एसोसिएशन फॉर ह्यूमन वैल्यूज के साथ मिलकर देश के सभी कोनों में, जिनमें महाराष्ट्र, कर्नाटक, पंजाब, मध्य प्रदेश, पश्चिम बंगाल, छत्तीसगढ़, तेलंगाना, दिल्ली और जम्मू राज्य शामिल हैं। संस्थान के कार्यकर्ता लगातार बिना थके राहत सामग्री पहुंचा रहे हैं।
स्वयंसेवकों ने देश के विभिन्न हिस्सों में फंसे एक लाख से अधिक दैनिक श्रमिकों और प्रवासी मजदूरों को राहत सामग्री पहुंचाई है। आर्ट ऑफ लिविंग, आईएएचवी ने इस अभियान में फिल्म और टीवी के सहयोगियों को शामिल करते हुए, देशभर में लाखों परिवारों को 10 दिन का राशन वितरित किया। 500 टन राहत सामग्री का वितरण देश के विभिन्न हिस्सों में किया गया, जिसमें भोज्य पदार्थ, दवाइयां और सैनिटाइजर शामिल हैं।
इसके साथ ही संस्थान ने एक राष्ट्रीय हेल्पलाइन (080-676-12338) जारी की है, जहां आर्ट ऑफ लिविंग के शिक्षक लॉकडाउन में तनाव और चिंता से गुजर रहे लोगों को परामर्श देंगे। मानसिक तनाव दूर करने के लिए गुरुदेव श्री श्री रविशंकर दिन में दो बार, दोपहर 12 बजे और शाम को 7.30 बजे ध्यान करा रहे हैं, जो उनके आधिकारिक सामाजिक मीडिया प्लेटफॉर्म पर सभी के लिए उपलब्ध हैं। महामारी के पश्चात उत्पन्न हुए प्रभावों का सामना करने में मदद करने के लिए स्पेनिश भाषा बोलने वाले देशों के लिए गुरुदेव द्वारा आज एक विशेष सत्र का आयोजन किया जाएगा।
आर्ट ऑफ लिविंग के शिक्षक भी लोगों को लाभान्वित करने के लिए योग और ध्यान के सत्रों का आयोजन कर रहे हैं। संस्थान से संबंधित वरिष्ठ आयुर्वेद डॉक्टर प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने और स्वस्थ रहने के लिए भोजन और जीवनशैली से संबंधित सुझाव दे रहे हैं ताकि लोग हाल ही में उत्पन्न हुई परिस्थितियों में संक्रमण से बच सकें।
दर्शक हाथी, अध्यक्ष, आईएएचवी के अन्तरराष्ट्रीय निदेशक ने बताया कि गुरुदेव श्री श्री रविशंकर ने इस संकट की घड़ी में प्रत्येक व्यक्ति से यह आग्रह किया है कि वे जितना संभव हो सके, एक दूसरे की मदद करें। आर्ट ऑफ लिविंग के स्वयंसेवक सामाजिक दूरी बनाए रखने के नियम का पूर्णतः पालन करते हुए, अपने आसपास के लोगों तक पहुंच रहे हैं और उन्हें राहत सामग्री के साथ-साथ मानसिक राहत भी प्रदान कर रहे हैं।