Somvati Amavasya 2021: सोमवती अमावस्या पर करें ये 10 उपाय, मिलेगी संकटों से निजात

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इस बार 6 सितंबर 2021 को भाद्रपद मास के कृष्ण पक्ष की सोमवती अमावस्‍या है। यह अमावस्या सोमवार को आने के कारण हिंदू धर्म में विशेष महत्व रखती है। इस दिन सुहागिन महिलाओं द्वारा अपने पति की दीर्घायु कामना के लिए व्रत रखने का विधान है। सोमवार के दिन यह अमावस्या पड़ने के कारण ही इसे सोमवती अमावस्या कहते है। इस बार अमावस्या तिथि का प्रारंभ 6 सितंबर 2021 शाम 07:40 मिनट से शुरू होकर 7 सितंबर, मंगलवार शाम 06:23 मिनट तक रहेगा।
 
सोमवार का दिन भगवान शिव को समर्पित है और शिव जी का पूजन करने के लिए यह दिन खास माना जाता है। इसलिए सोमवती अमावस्या पर शिव जी की आराधना, पूजन-अर्चना उन्हीं को समर्पित होती है। पुराणों के अनुसार सोमवती अमावस्या पर स्नान-दान करने की परंपरा है, परंतु जो लोग गंगा स्नान करने नहीं जा पाते, वे किसी भी नदी या सरोवर तट आदि में स्नान कर सकते हैं। 
 
आजमाएं ये खास उपाय- 
 
1. जिन लोगों की पत्रिका में चंद्रमा कमजोर है, वह जातक गाय को दही और चावल खिलाएं तो उन्हें मानसिक शांति प्राप्त होगी।
 
2. महाभारत काल से ही पितृ विसर्जन की अमावस्या, विशेषकर सोमवती अमावस्या पर तीर्थस्थलों पर पिंडदान करने का विशेष महत्व है।
 
3. सोमवती अमावस्या के दिन 108 बार तुलसी परिक्रमा करें।
 
4. सोमवती अमावस्या के दिन सूर्य नारायण को जल देने से दरिद्रता दूर होती है।
 
5. ऐसा माना गया है कि पीपल के मूल में भगवान विष्णु, तने में शिवजी तथा अग्रभाग में ब्रह्माजी का निवास होता है। अत: इस दिन पीपल के पूजन से सौभाग्य की वृद्धि होती है।
 
6. सोमवती अमावस्या के दिन पीपल की परिक्रमा करने का विधान है। उसके बाद गरीबों को भोजन कराया जाता हैं।
 
7. पर्यावरण को सम्मान देने के लिए भी सोमवती अमावस्या के दिन पीपल के वृक्ष की पूजा करने का विधान माना गया है।
 
8. इसके साथ ही इस दिन माता पार्वती, माता लक्ष्मी की पूजा करना भी शुभ होता है।
 
9. इस दिन पीपल की 7 परिक्रमा करने की मान्यता है। अत: यह उपाय आज के दिन अवश्य करें। 
 
10. सोमवती अमावस्या के दिन की पितरों को जल देने से उन्हें तृप्ति मिलती है। इस दिन पितृ तर्पण करने से जीवन की नकारात्मकता दूर होकर जीवन में सकारात्मकता का संचार होता है।  

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