इस बार बुधवार, 21 सितंबर 2022 को इंदिरा एकादशी (indira ekadashi 2022) मनाई जा रही है। पितृ पक्ष में आने वाली यह एकादशी बहुत ही खास मानी गई है। इस दिन कुछ खास उपाय करने से जीवन में हर संकट से बचाव होता है तथा पितृओं को मोक्ष मिलता है। जानिए यहां...
इंदिरा एकादशी के उपाय- Indira Ekadashi 2022 Upay
1. इंदिरा एकादशी के संबंध में धार्मिक मान्यता है कि इस दिन भगवान श्री विष्णु की आराधना करने से हर तरह की सुख-समृद्धि प्राप्त होती है और सभी दुख दूर हो जाते हैं।
2. हिंदू धर्म में इंदिरा एकादशी का विशेष महत्व बताया गया है। अत: इस दिन पूरे मन से व्रत रखकर पितरों के निमित्त तर्पण तथा ब्राह्मणों को भोजन कराने से सभी मनोकामना पूर्ण होती है।
3. इंदिरा एकादशी का व्रत समस्त पापों से भी मुक्ति दिलाने वाला और जीवन की सभी परेशानियां दूर करने में महत्वपूर्ण माना गया हैं। अत: इस दिन व्रत अवश्य रखें।
4. एकादशी के दिन सायंकाल के समय तुलसी के पौधे के सामने घी का दीया जला कर ॐ वासुदेवाय नमः मंत्र का जाप करें तथा 11 परिक्रमा करने से घर में सुख, समृद्धि, धन-धान्य तथा सौभाग्य में वृद्धि होती है तथा परिवार में आ रहा संकट दूर होता है।
5. इंदिरा एकादशी व्रत के दिन कथा पढ़ने और सुनने मात्र से मनुष्य सब पापों से छूट जाता हैं तथा सभी प्रकार के सुखों को प्राप्त कर बैकुंठ को प्राप्त होता हैं।
6. आश्विन मास के पितृ पक्ष में पड़ने इस एकादशी का व्रत रखने से पितृ प्रसन्न होते हैं और उन्हें मोक्ष प्राप्त होता है।
7. यदि आप कर्ज से परेशान हैं तो इंदिरा एकादशी के दिन पीले पुष्प, केला, तुवर दाल, चने की दाल, हल्दी तथा अन्य पीले रंग की वस्तुएं भगवान श्री विष्णु को पूजा में अर्पित करके इसे गरीबों में बांट देने से जल्दी ही ऋण से मुक्ति के रास्ते खुलेंगे तथा कर्ज खत्म हो जाएगा।
8. आश्विन मास कृष्ण पक्ष की इंदिरा एकादशी के दिन पीपल के वृक्ष के नीचे सरसों के तेल का दीपक जलाने से पितृओं के आत्मा को शांति मिलती है तथा धन संबंधी समस्या दूर होकर घर में धनागमन होता है।
9. इंदिरा एकादशी के दिन श्री विष्णु सहस्त्रनाम का पाठ करने से परिवार की सभी नकारात्मक ऊर्जाएं समाप्त होकर संकट टल जाते हैं तथा घर में खुशियों का संचार होता है।
10. धार्मिक दृष्टि से आश्विन मास बहुत महत्व का माना जाता है। अत: इंदिरा एकादशी की व्रत कथा सुनना पुण्यकारी होता है। अगर कोई व्रतधारी इस दिन व्रत कथा नहीं सुनता या पढ़ता हैं तो यह व्रत अधूरा रह जाता है। अत: कथा वाचन अवश्य करें।
11. पूर्वज को प्रसन्न करने हेतु इंदिरा एकादशी के दिन ब्राह्मण भोजन कराने से पितृ खुश होकर परिवारजनों को आशीर्वाद देते हैं। तथा पितृ दोष भी दूर हो जाता है।
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